जिस रफ्तार से दिल्ली में टीकाकरण हो रहा है उसके हिसाब से सरकार के अनुसार अब केवल दो दिनों का ही स्टॉक बचा हुआ है। यानी अगर दो दिनों के भीतर वैक्सीन की और खेप नहीं मिली तो दिल्ली में टीकाकरण को रोकना पड़ेगा।
दिल्ली में आबादी के हिसाब से वैक्सीन उपलब्ध न हो पाने के कारण बार-बार इसकी किल्लत का मुद्दा उठ रहा है। एक तरफ दिल्ली सरकार जल्द से जल्द और बड़ी संख्या में लोगों को टीका लगाना चाह रही है, तो वहीं दूसरी ओर केंद्र सरकार उनकी मांग के हिसाब से टीका उपलब्ध नहीं करवा पा रही हैl केजरीवाल सरकार द्वारा वैक्सीन की मांग को लेकर केंद्र की नीति पर सवाल उठाए जा रहे हैं l
दिल्ली सरकार की ओर से दी गई जानकारी के अनुसार राजधानी में शुक्रवार को 1.6 लाख से ज्यादा लोगों को कोरोना का टीका लगाया गया था। इसके साथ टीका लगवा चुके कुल लोगों का आंकड़ा 82 लाख से अधिक हो गया। वहीं शनिवार को राजधानी में अब तक 8212158 लोगों का कोरोना टीकाकरण हो चुका है। इनमें से 6345239 को पहली खुराक और 1866919 को टीके की दूसरी खुराक दी गई।
दिल्ली के पास केवल 478000 टिकों का स्टॉक है। इनमें 268000 कोवाक्सिन और 210000 कोविशील्ड के टीके हैं। टीकों का ये स्टॉक फिलहाल दो दिनों के लिए पर्याप्त होगा। फिलहाल राजधानी में 1374 केंद्रों पर टीकाकरण चल रहा है जहां रोजाना 226552 टीके लगाने की क्षमता है।