अमृत 2.0 योजना: उत्तर प्रदेश के मुख्य सचिव दुर्गाशंकर मिश्रा ने जल निगम द्वारा अयोजित दो दिवसीय वाटर कांक्लेव के अंतिम दिन कहा कि अमृत 2.0 योजना के तहत प्रदेश में 43 लाख से अधिक घरों में पेयजल आपूति के कनेक्शन दिए जाएंगे। इसके अलावा सीवर निस्तारण को लेकर पांच लाख घरों को सीवर कनेक्शन भी दिए जाएंगे। उन्होंने बताया कि अमृत 2.0 योजना के तहत अब तक 10 लाख से अधिक घरों में पेयजल कनेक्शन दिए जा चुके हैं।
इस मौक पर मुख्य सचिव ने कहा कि पेयजल योजनाओं में नई तकनीक अपनाई जाएं और जल संरक्षण को बढ़ावा दिया जाए। उसके लिए रियूज्ड वाटर के उपयेाग को बढ़ावा देने को कहा। जल संरक्षण को लेकर झील, तालाब को विकसित किया जाएगा। जिसके लिए अमृत सरोवर योजना चल रही है। उसके उसके तहत 166 अमृत सरोवरों का पुनरुद्घार करने की मंजूरी शासन ने दे दी है।
राम मंदिर क्षेत्र अयोध्या धाम के साथ ही पूरी अयोध्या में 24 घंटे पेयजल आपूर्ति की सुविधा दी जाएगी। आपूर्ति के लिए कच्चा पानी सरयू नदी से लिया जाएगा। उसके लिए 100 एमएलडी क्षमता का वाटर ट्रीटमेंट प्लांट भी बनाया जाएगा। दो साल में यह योजना पूरी होगी और हर घर तक नल से जल पहुंचने लगेगा। इसके लिए अमृत मिशन-2.0 योजना में इस प्रोजेक्ट पर काम 370 करोड़ रुपये खर्च होंगे। काम दो चरणों में पूरा किया जाएगा।
इससे पहले उत्तर प्रदेश सरकार ने जल जीवन मिशन योजना का सुचारु रूप से संचालन करते हुए प्रदेश के कई सारे प्रांत और वहां के गांवों तक में शुद्ध पेयजल पहुंचाने का कार्य सफलतापूर्वक पूरा कर लिया है। सरकार ने इस लोक कल्याणकारी योजना का लाभ सभी तक पहुंचाने के लिए प्रदेश के तकरीबन सभी प्रांतों में इसे क्रियान्वित किया है। जिसके फलस्वरूप आज उत्तर प्रदेश के दो करोड़ से ज्यादा घरों में साफ पीने का पानी सीधे नल द्वारा पहुंच रहा है।
