Uttar Pradesh

BREAKING NEWS: ऐतिहासिक रही राष्ट्रीय लोक अदालत,89998 मामले निस्तारित

सन्दीप मिश्रा
रायबरेली

रायबरेली: रायबरेली जिला विधिक सेवा प्राधिकरण/, जनपद न्यायाधीश रायबरेली  अब्दुल शाहिद की अध्यक्षता में दिनांक 11.09.2021 को आयोजित की गयी राष्ट्रीय लोक अदालत में कुल 89998 मामलों का निस्तारण किया गया है।राष्ट्रीय लोक अदालत का उद्घाटन जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के अध्यक्ष/मा0 जनपद न्यायाधीश  अब्दुल शाहिद द्वारा दीप प्रज्जवलन करके किया गया। इस अवसर पर प्रधान न्यायाधीश-कुटुम्ब न्यायालय  रवीन्द्र विक्रम सिंह, चेयरमैन-मोटर दुर्घटना दावा अधिकरण  गुरप्रीत सिंह बावा, अध्यक्ष, स्थाई लोक  कृष्णकान्त पाण्डेय, प्रथम अपर जिला जज  ज़ैगम उद्दीन, अपर जिला जज  अरुण कुमार मल्ल, अपर जिला जज श्री विनोद कुमार वर्णवाल, अपर जिला जज  हीरालाल, अपर जिला जज  पंकज जायसवाल, अपर जिला जज  उदयवीर सिंह (नोडल अधिकारी, राष्ट्रीय लोक अदालत),मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट श्रीमती शिल्पी रानी व अन्य न्यायिक अधिकारीगण, विभिन्न बैंक के अधिकारीगण भी उपस्थित रहे। जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के सचिव श्री सुमित कुमार ने बताया की राष्ट्रीय लोक अदालत दिनांक-11.09.2021 में कुल 96025 मुकदमे नियत किये गये थे जिसमें से 89998 मामलों का निस्तारण किया गया। रुपये 1,36,192,611/- (तेरह करोड़ इकसठ लाख बानबे हजार छः सौ ग्यारह रुपये मात्र) के बाबत आदेश पारित किये गये। इस लोक अदालत में अन्य मामलों के साथ-साथ ई-चालान के मामले, चेक बाउंस(एन0आई0एक्ट) के मामले तथा बैंक रिकवरी के प्री-लिटिगेशन मामलों के अधिक से अधिक निस्तारण के प्रयास किये गये। दीवानी न्यायालय परिसर में कोरोना महामारी को दृष्टिगत रखते हुए शासन की गाइडलाइन्स का पालन करते हुए लोक अदालत का आयोजन किया गया। आमजन की सहायता के लिए न्यायालय परिसर में कई जगह सहायता पटल बनाये गये थे। राष्ट्रीय लोक अदालत में आने वाले सभी व्यक्तियों के हैण्ड सैनिटाइजेशन व निःशुल्क मास्क वितरण की व्यवस्था की गयी थी।

Click to comment

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Most Popular

Uncategorized

उत्तर प्रदेश पुलिस का सिपाही मिशन शक्ति जैसे अभियान को दिखा रहा ठेंगा!दो बीवियों के बीच फसा उत्तर प्रदेश पुलिस का सिपाही,एक बीवी घर तो दूसरी को ले तैनाती क्षेत्र में रह रहा था! घर वालों को पता चलने पर दूसरी को छोड़ा तो दूसरी बीवी ने किया मुकदमा!उत्तर प्रदेश में कानून का रखवाला ही कानून की धज्जियां उड़ा रहा,शादीशुदा होने के बावजूद कई सालों से दूसरी महिला को पत्नी बनाकर साथ में रह रहा था! बताते चलें कि देवरिया जिले का सिपाही ना०पु०062620433 रवि प्रताप जो पहले से शादीशुदा था महाराजगंज में तैनाती के दौरान महाराजगंज की एक महिला को भी अपनी पत्नी बनाकर साथ में रखा हुआ था! कई सालों तक साथ में रहने के बाद जब घर वालों को पता चला तो वह दूसरी बीवी को छोड़कर भागने के फिराक में लग गया! लेकिन दूसरी बीवी उसे भागता देख जिले के ही पुलिस अधीक्षक के पास शिकायत लेकर पहुंची और सिपाही रवि प्रताप के खिलाफ 376,और 493/506, समेत कई धाराओं में मुकदमा दर्ज किया गया है! अब सवाल यह उठ रहा है कि ऐसी धाराओं में मुकदमा दर्ज होने के बाद भी सिपाही रवि प्रताप निश्चिंत होकर अपनी ड्यूटी गोंडा जिले के जीआरपी में कर रहा है और कानून के बीच के बीच फसाकर दूसरी बीवी को प्रताड़ित कर रहा है!आपको बताते चलें कि महाराजगंज जिले में यह मामला काफी चर्चा में रहा है लेकिन विभागीय होने के नाते पुलिस विभाग के द्वारा भी आज तक ना तो सिपाही रवि प्रताप को गिरफ्तार किया गया ना ही उसकी दूसरी पत्नी के लिए न्याय संगत कोई कदम उठाया गया! कागजी कार्यवाही में कोटा पूर्ति करके सिर्फ महिला को थाने कचहरी और कोर्ट तक भगाया गया अब प्रश्न यह उठता है कि जब एक व्यक्ति कई सालों तक उक्त महिला के साथ रह रहा था तो ऐसे में उस महिला के ऊपर पड़ने वाले खर्च का भार कौन उठाएगा और किस के भरोशे न्याय के नियत दर-दर भटकेगी! बात करने पर सिपाही रवि प्रताप की दूसरी पत्नी ने बताया कि सिपाही रवि प्रताप के रिश्तेदारों के द्वारा उसे जान से मारने की धमकी भी मिल रही है और तरह-तरह के कूट रचित योजनाओं सेवा किसी भी तरीके से मामले को सुलह के रास्ते पर ले जाना चाहता है! उक्त प्रकरण में जो कि मामला गिरफ्तारी का है कि बावजूद कानून व्यवस्था को ही इस्तेमाल कर उक्त सिपाही इस मामले से निकल अपनी रोटी सेक दूसरी महिला के जीवन के साथ खिलवाड़ कर रहा है! जहां उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ मिशन शक्ति अभियान के तहत महिलाओं की सुरक्षा और उनके जीवन को मजबूत रखने के लिए तरह-तरह के कानून बना रहे हैं वहीं ऐसे भ्रष्ट और अयाश कानून के रखवाले सारे कानून को तोड़ सरकार की मंशा पर पानी फिरने का काम कर रहे हैं!(साक्ष्य मौजूद)

To Top