परशुराम जयंती 2022: भगवान परशुराम जी महाराज किसी धर्म जाति वर्ण या वर्ग विशेष के आराध्य ही नहीं बल्कि वे समस्त मानव मात्र के आराध्य हैं l इन्होंने सनातन संस्कृत के वैभव को बढ़ाने का कार्य किया है l आज पुरे देश में भगवान परशुराम जंयती मनाई जा रही है l
आज भगवान परशुराम जंयती पर शिव का नगरी काशी में विविध आयोजन हुए। दशाश्वमेध स्थित अहिल्याबाई घाट पर बटुकों ने मां गंगा का पूजन कर काशी में ब्राह्मण भवन बनाने का संकल्प लिया। विप्र समाज काशी के तत्वावधान में आयोजित कार्यक्रम के मुख्य अतिथि पूर्व राज्यमंत्री व शहर दक्षिणी के विधायक नीलकंठ तिवारी रहे।
उन्होंने समाजोत्थान में अतुलनीय योगदान देने वाले 35 विप्रों को अंगवस्त्र देकर सम्मानित किया। इसके बाद पंडित षडानन पाठक के आचार्यत्व में 21 बटुकों के साथ गंगा का पूजन कर दूध और केशर जल से अभिषेक किया। इस अवसर पर नीलकंठ तिवारी ने कहा कि भगवान परशुराम ब्राह्मण समाज के साथ ही सभी वर्ग के लिए वीरता,शौर्य के प्रतीक रहे हैं।
कार्यक्रम संयोजक पवन शुक्ला ने कहा कि शीघ्र ही काशी में भगवान परशुराम की प्रेरणा से ब्राह्मण भवन की स्थापना होगी। इसमें ब्राह्मण समाज के अलावा अन्य का भी सहयोग लिया जाएगा। भवन के लिए भूमि की तलाश जारी है।
