सियासत: दिल्ली में अब गांवों के नाम बदलने को लेकर राजनीति गर्म हो गई है। दिल्ली के गांवों के मुस्लिम नामों को बदलने के लिए अब बीजेपी ने मोर्चा खोल लिया है। उसी कड़ी मे भाजपा के दिल्ली प्रदेश अध्यक्ष आदेश गुप्ता ने बृहस्पतिवार को दिल्ली के 40 गांवों के नाम बदलने के लिए मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को पत्र लिखा।
बीजेपी का कहना है कि आजादी के इतने दशकों के बाद भी गुलामी का कोई प्रतीक चिन्ह नहीं होना चाहिए। भाजपा ने 40 गांवों की लिस्ट तैयार की है। साथ ही सीएम केजरीवाल को कुछ नामों का सुुझाव भी दिया है। भाजपा ने स्वतंत्रता सेनानियों, कलाकारों, दंगों में मारे गए अंकित शर्मा व रतनलाल, बटला हाउस में शहीद हुए मोहनचंद शर्मा, कारगिल युद्ध के नायक कैप्टन विक्रम बत्रा, गायक लता मंगेशकर, मोहम्मद रफी, क्रिकेटर यशपाल शर्मा और मिल्खा सिंह के नाम पर गांवों का नाम रखने का प्रस्ताव दिया है।
उन्होंने कहा कि गांव की पंचायतों से परामर्श और लोगों से रायशुमारी करने के बाद नाम बदलने का फैसला लिया गया है। प्रदेश भाजपा अध्यक्ष ने उम्मीद जताई है कि प्रस्ताव पर मुख्यमंत्री गंभीरता से विचार करेंगे। उन्होंने कहा कि भारत और दिल्ली आज आजादी के 75वें वर्ष को अमृत महोत्सव के रूप में मना रही है। ऐसे में दिल्ली का कोई भी युवा नहीं चाहेगा कि प्रदेश में गुलामी के प्रतीक नाम हो।
आदेश गुप्ता ने कहा कि इस सूची में बेगमपुर, सदैला जॉब, फतेहपुर बेरी, हौजखास, शेख सराय, जिया सराय, नेब सराय, अर्द्धचिनी, जाफरपुर कलां, काजीपुर, नसीरपुर, मिर्जापुर, हसनपुर, गालिबपुर, ताजपुर खुर्द व नजफगढ़ के अलावा 40 ऐसे गांवों के नाम शामिल हैं जिन्हें बदलने की मांग गांव वाले लंबे समय से करते आ रहे हैं।
इन नामों का दिया प्रस्ताव
गुप्ता ने बताया कि अटलग्राम, कप्तान विक्रम बत्रा ग्राम, मोहन चंद शर्मा, लता मंगेशकर, मिल्खा सिंह, यशपाल शर्मा, रामनाथ गोयनका, अशफाक उल्लाह खान, अंकित शर्मा, मंगल पांडेय, लक्ष्मीबाई, बिस्मिल्लाह खान, मोहम्मद रफी, सर छोटूराम, परशुराम, रविदास, वाल्मीकि समेत आदि गांवों के नाम अन्य महान विभूतियों के नाम पर रखने का प्रस्ताव है।
