आगरा में डेंगू: उत्तर प्रदेश के कई जिलों में कोरोना के बाद के डेंगू का कहर काफी घातक हो गया है, उत्तर प्रदेश के आगरा जिले में अप्रैल-मई में कोरोना के बाद सितंबर-अक्तूबर में डेंगू का डेन-2 स्ट्रेन घातक बना हुआ है। 58 दिनों में डेंगू के 551 मरीज मिले हैं।
हर 15 नमूनों की जांच में डेंगू का एक मरीज मिल रहा है। सबसे ज्यादा मरीज दयालबाग क्षेत्र में हैं। दस साल में यह दर सबसे अधिक है। इससे पहले 2018 में 190 मरीज मिले थे, तब 250 नमूनों की जांच में एक मरीज मिल रहा था।
सीएमओ डॉ. अरुण श्रीवास्तव ने बताया कि अभी तक करीब आठ हजार नमूनों की जांच हुई है। इसमें बुखार के 551 मरीजों में डेंगू की पुष्टि हुई है। मरीजों में बच्चों की संख्या करीब 40 फीसदी है। सरकारी आंकड़ों में भले ही डेंगू से तीन मौत हों, लेकिन ताजनगरी में वायरल बुखार से 100 से अधिक लोगों की मौत हो गई हैं। इनमें बच्चों की संख्या 80 फीसदी से अधिक है।
स्वास्थ्य विभाग के आंकड़ों में डेंगू से इन 57 दिनों में तीन मरीजों की मौत हुई है। इनमें से एक मरीज की मौत सितंबर में हुई थी। यह बरहन की रहने वाली थी। टेढ़ी बगिया क्षेत्र के दो मरीजों की मौत अक्तूबर में हुई है।
शहर के पांच क्षेत्र, जिनमें सबसे ज्यादा मरीज मिले:
दयालबाग: 34
यमुनापार: 18
आवास विकास कॉलोनी: 14
शाहगंज: 14
कमला नगर: 12
देहात के पांच क्षेत्र, जिनमें सबसे ज्यादा मरीज मिले:
बरौली अहीर: 18
पिनाहट: 15
बाह: 14
फतेहाबाद: 14
बिचपुरी: 11
