टोक्यो ओलंपिक करीब हैं. जुलाई में ओलंपिक जापान मे शुरू हो जाएंगे. भारतीय खिलाड़ी लगातार इस कोशिश में हैं कि वे ओलंपिक के लिए क्वालीफाई कर, टोक्यो जाकर देश और पूरी दुनिया में भारत का नाम रोशन करें. हालांकि ओलंपिक में भारतीय खिलाड़ियों की सफर कभी भी आसान नहीं रही है. बहुत कम ऐसे खिलाड़ी हैं, जो ओलंपिक में भारत के लिए पदक जीत पाए हैं. लेकिन अब टोक्यो ओलंपिक के दौरान फिर से उम्मीदें जगी हैं. जैसा कि ओलंपिक 2020 में ही होना था, लेकिन पूरी दुनिया में कोरोना महामारी के चलते इसे एक साल के लिए रद्द कर दिया गया था. वहीं प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज अपने मन की बात में सबसे पहले ओलंपिक की ही बात की और उन्होंने इसके लिए एक क्विज का भी ऐलान किया.
गौर करने वाली बात ये है कि भारत ने साल 2008 के बाद से अब तक कोई गोल्ड अपने नाम नहीं किया है. लेकिन टोक्यो ओलंपिक में देखना होगा कि इस बार कोई भारतीय स्वर्ण पदक अपने नाम कर पाता है कि नहीं. बता दें कि भारत ने अब तक के ओलंपिक इतिहास में सबसे ज्यादा 11 मेडल हॉकी में अपने नाम किए हैं. भारत ने हॉकी में आठ गोल्ड, एक सिल्वर और एक ब्रॉन्ज मेडल अपने नाम किया है.
अगर बात ओलंपिक के इतिहास की करें तो भारत ने अब तक 28 मेडल अपने नाम किए हैं. इसमें नौ गोल्ड, सात सिल्वर और 12 ब्रॉन्ज मेडल शामिल हैं. एथलेटिक्स में भारत ने सबसे कम मेडल अपने नाम किए हैं. अब मौका मिलने पर पिछले प्रदर्शन को पीछे छोड़ खिलाड़ी इस बार नए जोश और जज्बे के साथ मैदान में उतरने की तैयारी कर रहे हैं. कई खिलाड़ियों ने तो ओलंपिक के लिए क्वालीफाई कर भी लिया है, वहीं कई खिलाड़ी इस कोशिश में जुटे हुए हैं.