फैसला: शराब की ऑन लाइन बिक्री से होम डिलीवरी की अनुमति की मांग को लेकर दाखिल जनहित याचिका हुई खारिज

इलाहाबाद: इलाहाबाद हाईकोर्ट ने शराब की ऑन लाइन बिक्री से होम डिलीवरी की अनुमति की मांग को लेकर दाखिल जनहित याचिका खारिज कर दी है और कहा है कि यह राज्य सरकार का नीतिगत मामला है, फिलहाल शराब की ऑनलाइन बिक्री की अनुमति नहीं दी जा सकती।

यह आदेश कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश एम एन भंडारी तथा न्यायमूर्ति एस सी शर्मा की खंडपीठ ने अधिवक्ता गोपाल कृष्ण पांडेय की याचिका पर दिया है। याची जो की पेशे से अधिवक्ता है उस का कहना था कि ऐसा करने से राजस्व में बढ़ोतरी होगी और सीनियर सिटिजन व ऐसे लोगों को सुविधा होगी जो दुकान पर जाकर शराब खरीदने में झिझकते हैं तथा लाइन मे नही लगना चाहते हैं। तथा कम खर्च में दुकान चलाई जा सकेगी। दुकान पर अनावश्यक भीड़ न होने से कानून व्यवस्था में भी सुधार होगा। इन्ही कारणों से याची ने ऑनलाइन बिक्री की मांग की है।
राज्य सरकार के मुख्य स्थायी अधिवक्ता का कहना था कि सरकार ऑनलाइन बिक्री नहीं चाहती। यह सरकार का नीतिगत निर्णय है। कुछ राज्यों में कोरोना पीक पर था तो ऑनलाइन शराब बेचने की अनुमति दी गई। यूपी में कोविड की दूसरी लहर भी जा चुकी है। याचिका खारिज की जाए।

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